प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज अभियंताओं के सामर्थ्य और समर्पण की सराहना की, जब वह अभियंता दिवस (इंजीनियर्स डे) के अवसर पर यहां एक बड़े समारोह में शामिल हुए।
प्रधानमंत्री ने इस मौके पर उनकी जीवनीकी के आदर्श को साझा किया और उनके योगदान को यथार्थ में महत्वपूर्ण माना।
अभियंता दिवस को हर साल 15 सितंबर को मनाया जाता है, इस दिन को भारतीय इंजीनियरिंग क्षेत्र के महान अभियंता एम विश्वेश्वरैया की जयंती के रूप में मनाया जाता है।
विश्वेश्वरैया जी का जन्म 15 सितंबर 1861 को हुआ था, और उन्होंने भारतीय इंजीनियरिंग क्षेत्र में अपने उत्कृष्ट कार्यों के लिए बड़ा नाम बनाया।
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प्रधानमंत्री मोदी ने अपने भाषण में कहा, “अभियंताओं की योगदान ने हमारे देश की प्रगति में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है।
उन्होंने अपने नवोन्वेषी मस्तिष्क और अथक समर्पण के साथ भारत की प्रगति की रीढ़ है।”
इस मौके पर प्रधानमंत्री ने भारतीय अभियंताओं को उनके योगदान के लिए सराहना देते हुए कहा कि वे अपने क्षेत्र में अपनी विशेषज्ञता से देश को आगे बढ़ाने में मदद कर रहे हैं।
इंजीनियर्स डे के अवसर पर अभियंता दिवस को मनाने का परंपरागत उद्देश्य भारतीय इंजीनियरिंग क्षेत्र के महान अभियंता एम विश्वेश्वरैया की जयंती को याद करना है, जिन्होंने अपने अग्रणी कार्यों से भारत का मान बढ़ाया था।
विश्वेश्वरैया जी को 1955 में ‘भारत रत्न’ से सम्मानित किया गया था।
इंजीनियरिंग क्षेत्र में अपनी उत्कृष्ट योगदान के लिए एम विश्वेश्वरैया का नाम भारतीय इंजीनियरों के लिए एक प्रेरणा स्रोत है।
उनके योगदान ने भारत के प्रगति में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है और उनकी जयंती को मनाने से यह संदेश मिलता है कि आज के अभियंताएं उनके उत्कृष्ट उदाहरण का पालन करके अपने क्षेत्र में बेहतरीन काम कर सकते हैं।
प्रधानमंत्री मोदी ने अभियंता दिवस के मौके पर अभियंताओं को उनके समर्पण और कर्मठता के लिए सराहना देते हुए कहा कि वे अपने क्षेत्र में नए उत्कृष्टाधिकारी बनने का मार्ग प्रशस्त कर रहे हैं।
इंजीनियर्स डे के अवसर पर प्रधानमंत्री ने यह भी बताया कि भारत सरकार अभियंताओं के उत्कृष्ट काम को प्रोत्साहित करने के लिए विभिन्न प्रोजेक्ट्स और स्कीम्स की शुरुआत कर रही है, जिससे वे और भी महत्वपूर्ण कार्यों में अपनी योगदान दे सकेंगे।