धामी ने यह निर्देश शुक्रवार को राज्य सचिवालय में महिला कर्मियों की सुरक्षा एवं अधिकारिता पर आयोजित बैठक की अध्यक्षता करते हुए दिए.
उन्होंने कहा कि महिलाओं को बड़ी संख्या में रोजगार और स्वरोजगार परियोजनाओं से जोड़ना सुनिश्चित करने के लिए सभी विभागों को समन्वित तरीके से काम करना चाहिए.
सीएम ने कहा कि महिला कर्मियों की सुरक्षा के लिए विभागों के स्तर पर ठोस कार्य योजना बनाई जाए।
उन्होंने कहा कि पुलिस हेल्प डेस्क और हेल्पलाइन नंबर 112 को मजबूत किया जाए।
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सीएम ने कहा कि नियमानुसार महिलाएं मातृत्व अवकाश की हकदार हैं और यह सुनिश्चित किया जाए कि हर कामकाजी महिला को इसका लाभ मिले।
उन्होंने निर्देश दिए कि सभी संस्थानों में महिलाओं के लिए हेल्प डेस्क बनाया जाए और एक क्षेत्र में कामकाजी महिलाओं के पंजीकरण की व्यवस्था की जाए और इसके लिए पुलिस, श्रम और संबंधित विभाग को एक साथ आना चाहिए।
धामी ने कहा कि कार्यस्थल पर महिलाओं के यौन उत्पीड़न को रोकने के लिए गठित समिति की नियमित बैठकें होनी चाहिए और कार्यस्थल पर यौन उत्पीड़न इलेक्ट्रॉनिक (एसएचई) बॉक्स के बारे में सभी को जानकारी होनी चाहिए।
सीएम ने सरकार के सभी विभागों को एक टीम की तरह काम करने का आह्वान करते हुए कहा कि विभागों को अपनी कार्य संस्कृति में सुधार पर ध्यान देना चाहिए।
उन्होंने कहा कि राज्य में बाल श्रम को रोकने के लिए प्रभावी प्रयासों की आवश्यकता है।
बैठक में पुलिस उपमहानिरीक्षक सेंथिल अबुदई कृष्णराज एस ने प्रस्तावित वन स्टॉप सॉल्यूशन एप की प्रस्तुति दी।
संगठित और असंगठित क्षेत्रों की कामकाजी महिलाएं नियुक्ति के समय एप में अपना पंजीकरण करा सकेंगी।
उन्होंने कहा कि उद्योगों और कारखानों में काम करने वाली महिला कर्मचारियों और उनके नियोक्ताओं को वन स्टॉप सॉल्यूशन ऐप में महिला श्रमिकों का पंजीकरण कराने के लिए प्रोत्साहित किया जाएगा।