उत्तराखंड : बेशक कांग्रेस प्रदेश की पांचों लोकसभा सीट एक बार फिर हार गई। लेकिन देश भर में बढ़ी कांग्रेस की लोकसभा सीटों के बाद उत्तराखण्ड कांग्रेस विशेष उत्साहित है।
इस बीच, प्रदेश रिक्त मंगलौर व बदरीनाथ विधानसभा के लिए उपचुनाव की घोषणा हो चुकी है। बसपा विधायक सरवत करीम अंसारी के इंतकाल के बाद हरिद्वार लोकसभा की मंगलौर सीट पर चुनाव हो रहा है।
जबकि पौड़ी लोकसभा की बदरीनाथ सीट के कांग्रेस विधायक राजेंद्र भंडारी के रातों रात भाजपा में शामिल होने के बाद उपचुनाव की नौबत आई।
दस जुलाई को मतदान होना है। लिहाजा,कांग्रेस भाजपा समेत अन्य दल एक बार फिर चुनावी तैयारियों में जुट गई है।
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इस बार, कांग्रेस बदरीनाथ सीट पर विशेष रणनीति के तहत पूर्व विधायक राजेन्द्र भंडारी को विधानसभा में आने से रोकेगी।
लोकसभा चुनाव के दौरान भंडारी ने कांग्रेस प्रत्याशी गणेश गोदियाल के समर्थन में आहूत जनसभा में स्वंय के भाजपा में जाने की अटकलों को खारिज करने के 24घण्टे के अंदर दिल्ली में ‘कमल’ को थाम लिया।
भंडारी की यह चुनावी पलटी से जुड़ा वीडियो देश भर में चर्चा का विषय भी बना। ऐन मौके पर कांग्रेस को झटका देने वाले पूर्व कांग्रेसी विधायक राजेन्द्र भण्डारी को उपचुनाव में खासी मशक्कत करनी पड़ेगी।
लोकसभा चुनाव में भंडारी के पोलिंग बूथ पोखरी में कांग्रेसागे रही। लेकिन पूरी बदरीनाथ विधानसभा में भाजपा को लगभग 8 हजार की लीड मिली।
मोदी के विशेष प्रभाव वाले चमोली जिले में भाजपा की इस लीड से कांग्रेस जरा भी बेचैन नहीं दिखती। कांग्रेस के लोकसभा प्रत्याशी रहे गणेश गोदियाल कहना है कि बदरीनाथ के मतदाता भण्डारी की पलटी का जवाब मांग रहे हैं।
भंडारी से कांग्रेस को मिले धोखे का जवाब जनता देगी। और कांग्रेस बदरीनाथ सीट जीतेगी।
दूसरी ओर, बसपा के कमजोर होने के बाद कांग्रेस मंगलौर सीट पर बेहतर स्थिति में दिख रही है।
हालांकि, हरिद्वार के नये सांसद पूर्व सीएम त्रिवेंद्र सिंह रावत मंगलौर सीट को जीतने का दावा कर रहे हैं।
लोकसभा चुनाव में कांग्रेस ने मंगलौर सीट पर लीड ली थी। इस बार पूर्व विधायक काजी निजामुददीन एक बार फिर विधानसभा का चुनाव लड़ेंगे। 2022 के चुनाव में काजी लगभग 600 मतों से चुनाव हार गए थे।
लोकसभा चुनाव की जीत से आह्लादित प्रदेश अध्यक्ष महेंद्र भट्ट कांग्रेस की चुनौती को कोई तवज्जो नहीं देते हुए साफ कहते है कि पीएम मोदी का मैजिक एक बार फिर चलेगा।