अयोध्या : श्री राम जन्मभूमि मंदिर की व्यवस्था से जुड़े तीन अहम बदलाव किए गए हैं। जिनके मुताबिक अब कोई विशिष्ट व्यक्ति हो या अति विशिष्ट व्यक्ति श्री राम मंदिर परिसर में उसको चंदन या तिलक नहीं लगाया जाएगा।
दूसरा अब किसी को चरणामृत नहीं दिया जाएगा और तीसरा और सबसे अहम यह कि अब दर्शनार्थी पुजारी को पैसा देने के बजाय केवल दान पत्र में ही अपना दान अर्पण कर सकेंगे।
भक्तों की शिकायत मिलने पर हुआ फैसला
सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार, श्री राम जन्मभूमि मंदिर में काफी दिनों से यह शिकायत श्री राम मंदिर ट्रस्ट के पास आ रही थी कि सभी राम भक्तों के साथ सम्मान व्यवहार नहीं हो रहा है।
कुछ लोगों को विशिष्ट सुविधा मिल रही हैं जैसे उन्हें चंदन का तिलक लगाया जा रहा है और चरणामृत दिया जा रहा है, इसी व्यवस्था को ट्रस्ट ने समाप्त कर दिया है।
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अब किसी को विशिष्ट व्यक्ति नहीं माना जाएगा और सभी को एक समान माना जाएगा।
राम मंदिर ट्रस्ट ने किया एक और बड़ा बदलाव
बताया जा रहा है कि इसी के साथ अब राम मंदिर ट्रस्ट ने एक और बड़ा बदलाव किया है। अभी तक दर्शनार्थी राम मंदिर के पुजारियों को भगवान के चरणों में अर्पण के लिए सीधे पैसे और कीमती वस्तुएं देते थे, जिसे बाद में पुजारी रख लेते थे।
अब राम मंदिर ट्रस्ट ने कहा है कि जो भी पुजारी उन्होंने नियुक्त किए हैं उनको पर्याप्त वेतन दिया जाता है और जो भी पैसा भगवान के चरणों में चढ़ाया जाता है वह दान पात्र में डाला जाना चाहिए और ट्रस्ट के पास आना चाहिए। इसलिए दर्शनार्थी अब अपना अर्पण दान पात्र के जरिए ही करेंगे ना की पुजारी के जरिए।