उन्होंने तहसील में लम्बे समय से लंबित मामलों को विशेष कैम्प द्वारा दाखिला खारिज किया है।
इस पहल के चलते, जिला अधिकारियों का समयबद्ध निस्तारण किया जा रहा है जो काफी समय से लंबित थे।
जिससे जनमानस को आराम मिलेगा और वे अपनी समस्याओं का समाधान तेजी से प्राप्त कर सकेंगे।
विशेष कैम्प में 1227 राजस्व वादों का निस्तारण किया गया है।
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इनमें से 1155 वाद अविवादित थे, 3 वाद विवादित थे, 55 वाद विरासतन से संबंधित थे और 4 वाद धारा 33 और 39 के अंतर्गत थे।
इस कार्यक्रम का मुख्य उद्देश्य यह था कि एक ही दिन में सभी अधिकारी एकत्र होकर विभिन्न वादों का निस्तारण करें और जनमानस को राहत प्रदान करें।
जिलाधिकारी ने अधिकारियों और कर्मिकों को निर्देशित किया कि वे अपने दायित्वों को संवेदनशीलता से निभाएं और गंभीरता से समस्याओं का समाधान करें ताकि जनमानस की समस्याएं जल्दी से दूर हो सकें।
इससे लोगों के अनुभवों में सुधार होगा और वे शासन प्रशासन के प्रति अधिक सम्मान और विश्वास रखेंगे।
जिले में फरियादी लोगों को भी संबद्ध रहते हुए उन्होंने दायित्वों का निस्तारण करने के लिए सलाह दी है।
पिछले दिनों भी जिले के अंतर्गत तहसील सदर में विशेष दाखिला खारिज शिविर का आयोजन किया गया था जिसमें 2225 अविवादित दाखिला खारिज, 22 विरासतन, 10 न्यायालय में लम्बित वादों का निस्तारण किया गया था।
इससे पहले कई लोग अपनी समस्याओं के लिए विशेष दाखिला खारिज शिविर में जाकर अपनी शिकायतें पंजीकृत करवा चुके थे।
जिलाधिकारी सोनिका के नए पहल के माध्यम से, जनमानस को समस्याओं के निस्तारण में ताकत मिलेगी और उन्हें अपनी समस्याओं का समाधान तेजी से प्राप्त करने का अवसर मिलेगा।
जिले के विकास के लिए इस प्रकार की पहलें आगे बढ़ाने से लोगों का भरोसा और सम्मान बढ़ेगा।
इस तरह के सक्रिय और समर्थनीय पहलों के माध्यम से, जिले में शासन के विभिन्न अंगों के बीच समरसता बनी रहेगी और विकास की राह पर नए कदम बढ़ेंगे।